XtraStudy Header

Blogs ➤ Articles

Bihar GK : बिहार में महत्वपूर्ण ऑपरेशन/अभियान

Tags : #bihar_gk, #bpsc, #bihar_operation, #abhiyan   Author : Puja Singh
Updated : 19-Nov-2023 👁 484




ऑपरेशन सिद्धार्थ

बिहार सरकार की ओर से माओवादी उग्रवाद से निपटने के लिए ऑपरेशन सिद्धार्थ अभियान को नक्सल प्रभावित क्षेत्रों में चलाया गया. सन 1989 से चलाए गए इस अभियान के तहत क्षेत्र में सड़क, स्कूल और अस्पताल जैसी बुनियादी सुविधाएं मुहैया करवाने पर जोर दिया गया.

 

ऑपरेशन मुदगल

वनों से पत्थरों की तस्करी करने वाले तस्कर माफियाओं के विरुद्ध यह अभियान ऑपरेशन मुदगल चलाया गया. करोड़ों रुपये के पत्थर की अवैध तस्करी को रोकने के लिए मुंगेर जिले में वन विभाग द्वारा इस ऑपरेशन की शुरुआत 15 फरवरी, 2002 को की गई थी.

 

ऑपरेशन मानसून

वर्षा ऋतु में संरक्षित बनो में हो रहे अवैध शिकार को रोकने के लिए बिहार सरकार की ओर से यह ऑपरेशन शुरू किया गया.

 

ऑपरेशन चारा

केंद्रीय जांच ब्यूरो (CBI) ने बिहार में इस ऑपरेशन को चलाया था. इसके तहत बिहार में हुए चारा घोटाले की जांच करके दोषियों की धरपकड़ की गई थी.
 

ऑपरेशन चाणक्य

बाजार में दैनिक उपभोग की वस्तुओं में हो रही मिलावट को समाप्त करने के उद्देश्य से राज्य में ऑपरेशन चाणक्य चलाया गया.

 

ऑपरेशन कोबरा

बिहार के माफिया गिरोहों के सफाये के लिए ऑपरेशन कोबरा चलाया गया.

 

ऑपरेशन दशक

आर्थिक एवं सामाजिक न्याय प्रदान करने के लिए बिहार में इस अभियान का संचालन राज्य सरकार की ओर से किया गया.

 

ऑपरेशन जगुआर

 अंग प्रदेश और कोशी अंचल क्षेत्र के दियारा से सक्रिय अपराधियों के खात्मे के लिए ऑपरेशन जगुआर चलाया गया.

 

ऑपरेशन उजाला

बिहार के मुजफ्फरपुर जिले की तत्कालीन कलक्टर और जिला मजिस्ट्रेट राजबाला वर्मा ने नगर के कुख्यात रेड लाइट एरिया चतुर्भुज स्थान की वेश्याओं के जीवन और जीवन शैली में क्रांतिकारी परिवर्तन के लिए इस ऑपरेशन को संचालित किया था.

 

ऑपरेशन टोडरमल

इस ऑपरेशन का संचालन सरकार द्वारा भूमि सुधार कार्यक्रमों मैं तीव्रता लाने तथा भूमिहीनों को समुचित भूमि वितरण के लिए किया गया था.

 

ऑपरेशन काँम्बिग

दमरिया में हुए भीषण नरसंहार के आरोपियों को पकड़ने के लिए बिहार सरकार ने ऑपरेशन काँम्बिंग चलाया था.

 

ऑपरेशन धन्वंतरि

अवैध तथा नकली औषधियों पर नियंत्रण एवं उनकी समाप्ति के लिए इस ऑपरेशन को शुरू किया गया था.

 

ऑपरेशन ब्लैक पैंथर

बिहार के पश्चिम चंपारण में फैली दस्यु डाकू समस्या को समाप्त करने के लिए यह विशेष अभियान चलाया गया.

 

ऑपेरशन टास्क फोर्स

ऑपेरशन टास्क फोर्स का उद्देश्य नक्सली गतिविधियों का अंत करना है।

 

बिहार में शराबबंदी पर कड़े कानून लागू ( 2 अक्टूबर 2016 से)

बिहार में नया बिहार मद्य निषेध और उत्पाद अधिनियम, 2016 2 अक्टूबर, 2016 से लागू किया गया. मानसून सत्र में विधान मंडल द्वारा पारित विधेयक पर राज्यपाल के हस्ताक्षर सितंबर 2016 में ही हो गए थे. इस नए अधिनियम ने अप्रैल 2016 में लागू किए गए बिहार उत्पाद ( संशोधन) अधिनियम 2016 का स्थान लिया.  इस अधिनियम को पटना उच्च न्यायालय ने 30 सितंबर, 2016 को निरस्त कर दिया था किंतु उच्च न्यायालय के इस फैसले पर सर्वोच्च न्यायालय ने 7 अक्टूबर को रोक लगा दी थी.

प्रदेश में 2 अक्टूबर 2016 से लागू किए गए नए अधिनियम में शराब पीने के मामले में कम से कम 5 वर्ष और अधिकतम 7 वर्ष की सजा का प्रावधान है. न्यूनतम  ₹1 लाख और अधिकतम 10 लाख तक के जुर्माने का प्रावधान भी अधिनियम में किया गया है. शराब के नशे में उपद्रव अथवा हिंसा के मामले में न्यूनतम 10 वर्ष की सजा का प्रावधान नए अधिनियम में किया गया है. इस इस सजा को बढ़ाकर आजीवन करावास में भी बदला जा सकता है. घर में बरामद शराब की जानकारी नहीं देने पर संबंधित परिसर के मालिक को कम से कम 8 वर्ष की सजा होगी, जिसे बढ़ाकर 10 वर्ष तक किया जा सकेगा.

 

Comments
Comments (0)


App Link

xtrastudy android app
Others

Earn While You Learn
FAQ

Register Now

© 2022 Company, Inc. All rights reserved.